Pradhan Mantri Suryoday Yojana: अयोध्या में राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा के बाद पीएम मोदी ने प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना शुरू करने की घोषणा की है जिसके तहत एक करोड़ घरों पर रूफटॉप सोलर लगाने का लक्ष्य रखा गया है। इस योजना का क्या मतलब है? देश में रूफटॉप सोलर की वर्तमान स्थिति क्या है? चलिए आपको पूरी जानकारी देते है।
Pradhan Mantri Suryoday Yojana
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक बड़ी घोषणा करते हुए कहा है कि उनकी सरकार प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना शुरू करेगी, जिसके तहत एक करोड़ घरों की छतों पर रूफ टॉप सोलर लगाने का लक्ष्य उन्होंने रखने की बात कही है। यह बताना जरूरी है कि रूफ टॉप सोलर को प्रमोट करने के लिए मौजूदा मोदी सरकार ने ही एक योजना पहले से ही चलाई हुई है। ऐसे में इस नई योजना के अंदर क्या कुछ नया होगा यह हमें आने वाले समय में पता चलेगा। लेकिन जो पहले योजना चल रही है उसकी क्या स्थिति है और उस योजना के तहत अभी आप कितना खर्च करके और कैसे अपने घर की छत पर रूफ टॉप सोलर लगवा सकते हैं यह मैं आपको आगे बताने वाला हूँ।
सूर्यवंशी भगवान श्री राम के आलोक से विश्व के सभी भक्तगण सदैव ऊर्जा प्राप्त करते हैं।
आज अयोध्या में प्राण-प्रतिष्ठा के शुभ अवसर पर मेरा ये संकल्प और प्रशस्त हुआ कि भारतवासियों के घर की छत पर उनका अपना सोलर रूफ टॉप सिस्टम हो।
अयोध्या से लौटने के बाद मैंने पहला निर्णय लिया है कि… pic.twitter.com/GAzFYP1bjV
— Narendra Modi (@narendramodi) January 22, 2024
रूफटॉप सोलर योजना
आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने 2022 तक 40,000 मेगावाट सौर ऊर्जा के उत्पादन का लक्ष्य रखा था और इसके लिए रूफटॉप सोलर योजना (Rooftop Solar Scheme) लॉन्च की थी यानी घरों की छतों पर सोलर पैनल (Solar Panel) लगाकर बिजली बनाने की योजना। अभी इस योजना के दूसरे चरण में सरकार ने 40,000 मेगावाट के लक्ष्य को 2026 तक के लिए खिसका दिया है। प्रधानमंत्री की तरफ से घोषित की गई नई योजना इसी योजना का महत्वाकांक्षी रूप माना जा रहा है। बता दें कि इंडिया में अब तक 5 लाख घरों ने ऑन रेड सोलर को अपनाया है।
प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना का ऐतिहासिक टारगेट
माननीय प्रधानमंत्री ने कल एक करोड़ घरों पर सोलर लगाने का ऐतिहासिक टारगेट अनाउंस किया है। हालांकि यह एंबिशियस है हमारा मानना है कि कंज्यूमर एडॉप्शन में यह छलांग लगाई जा सकती है जैसे कि जर्मनी में 10% घरों में सोलर है तो वही ऑस्ट्रेलिया में 33% घरों में सोलर है जबकि इंडिया में अब तक 1% से भी कम घरों में सोलर है। इस मिशन को सक्सेसफुल बनाने के लिए गवर्नमेंट ऑफ इंडिया ने सही दिशा में काफी कदम उठाए हैं जैसे कि नेशनल सोलर पोर्टल का लॉन्च सब्सिडी में 23% का इंक्रीज और घरों के लिए सोलर परमिट्स को सिंपलीफाई और फास्ट ट्रैक कराना। इसके बाद इस मिशन को पूरा करने के लिए जरूरत है मास अवेयरनेस की और जिस तरीके से स्वच्छ भारत अभियान इंडिया का बच्चा-बच्चा जानता है वैसे ही प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना के बाद हर घर सोलर अभियान को भी इंडिया का बच्चा-बच्चा जानेगा और रूफ टॉप सोलर ना कि सिर्फ गवर्नमेंट का मिशन बल्कि एक पीपल एंड नेबरहुड रेवोल्यूशन इंडिया में बनेगा।
यहाँ से करें प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना के लिए रजिस्टर
अभी की योजना के हिसाब से अगर कोई व्यक्ति अपने घर की छत पर सोलर पैनल लगवाता है तो उसको https://solarrooftop.gov.in/ पर रजिस्टर करके आवेदन करना होगा। आवेदक अपना राज्य और फिर अपनी बिजली वितरण कंपनी चुनकर वेंडर का चुनाव कर सकता है जिससे रूफ टॉप सोलर लगवाना है। सब हो जाने के बाद आवेदक को केंद्र सरकार से सब्सिडी भी मिलती है। अगर आप 3 किलोवाट का सोलर लगवा हैं तो आपको 1,60,000 रुपए से 1,70,000 रुपए तक चुकाने होंगे। यह खर्च तब है जब केंद्र सरकार 54,000 रुपए की सब्सिडी देगी।
रूफटॉप सोलर के लिए सरकार कि मौजूदा योजना
आपको बता दें कि रूफटॉप सोलर के लिए केंद्र सरकार की मौजूदा योजना के चलते ही भारत में रूफटॉप सोलर क्षमता नवंबर 2023 में 10,800 मेगावाट तक पहुंच गई जबकि मार्च 2019 में यह केवल 18,00 मेगावाट ही थी। बढ़ती आबादी और बढ़ती अर्थव्यवस्था के साथ भारत में बिजली की मांग बढ़ना तय है। ऐसे में सौर ऊर्जा की क्षमता बढ़ाना अपनी जरूरत के लिए ही नहीं बल्कि पर्यावरण के लिए भी बहुत जरूरी है।